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Jalaun loksabha election । पांच बार के सांसद पर भारी रही इंडिया गठबंधन प्रत्याशी की जीत

बदलाव के जनादेश ने भाजपा प्रत्याशी के अरमानों पर पानी फेरा

53,898 मतों के अंतर से विजई हुए नारायण दास अहिरवार

(ब्यूरो रिपोर्ट)

जालौन लोकसभा क्षेत्र में आज हुई मतगणना में भाजपा को बड़ा झटका लगा है। यहाँ पर 5 बार के सांसद व केंद्रीय राज्यमंत्री भानुप्रताप सिंह वर्मा को इंडिया गठबंधन के प्रत्याशी ने पराजित कर जीत हासिल कर ली है।

Loksabha election 2024 result । उत्तर प्रदेश के जालौन-गरौठा-भोगनीपुर संसदीय सीट पर मतदान के बाद से ही इस तरह की अटकले जोर पकड़ रही थी कि इस बार चुनावी परिणाम बदलाव के जनादेश को लेकर ही देखने को मिलेगा आज मंगलवार को इस बात की पुष्टि भी हो गई जब पांच बार के सांसद भानु प्रताप वर्मा को इंडिया गठबंधन प्रत्याशी नारायण दास अहिरवार ने 53 हजार 898 मतों के अंतर से पराजित कर दिया। मतगणना दौरान गठबंधन प्रत्याशी को 5 लाख 30 हजार 180 वोट मिले।
हमारे स्थानीय सहयोगियों से मिली जानकारी के अनुसार इस बार के लोकसभा चुनाव में मतदान के दौरान ही बहुत कुछ हद तक तस्वीर स्पष्ट हो चुकी थी कि मुख्य मुकाबला भारतीय जनता पार्टी के प्रत्याशी और पांच बार के सांसद रहे भानु प्रताप वर्मा और इंडिया गठबंधन प्रत्याशी नारायण दास अहिरवार के बीच होना तय है और इस तरह की चचार्एं भी जोरों पर थी कि जनता बदलाव की ओर अपना रुख कर रही है और नतीजे जो भी सामने आएंगे वह इंडिया गठबंधन प्रत्याशी के पक्ष में हो सकते हैं आज सुबह जैसे ही मतों की गिनती शुरू हुई आम मतदाताओं और विभिन्न राजनीतिक दलों के कायर्कतार्ओं तथा पदाधिकारी और प्रत्याशियों में बेचैनी दिखाई देने लगी दोपहर बाद एक के बाद एक कई चरणों में मतगणना ने साफ तौर पर संकेत देना शुरू कर दिए की मुकाबला भाजपा और इंडिया गठबंधन के बीच ही है बाद के कुछ चरणों में जब इंडिया गठबंधन के प्रत्याशी ने बढ़त बढ़ाने शुरू कर दी तो धीरे-धीरे वह भाजपा प्रत्याशी को पीछे छोड़ते हुए तेजी के साथ मतों का अंतर बड़ा करने में कामयाब रहे और आखिरकार 16 चरण के बाद जहां मतों का अंतर लगभग 45000 से अधिक हो गया तो यह सुनिश्चित भी करना आसान हो गया कि अब इंडिया गठबंधन प्रत्याशी का जीतना तय है और आखिरकार वह 53 हजार 898 मतों से जीत हासिल कर पहली बार लोकसभा में प्रतिनिधित्व करने के लिए घोषित कर दिए गए। इस बार के चुनावी परिणाम में एक बात यह भी सामने आई की आम और खास सभी के बीच इस बात की चचार्एं जोरों पर रही की जनता ने अपने जनादेश में साफ कर दिया कि वह बदलाव चाहती थी और उसे अब देश की सबसे बड़ी पंचायत में नए चेहरे को ही भेजना था।

सपा और कांग्रेस खेमे में उत्साह और खुशी की लहर

मंगलवार का दिन इंडिया गठबंधन के लिए मंगल लेकर आया गठबंधन प्रत्याशी नारायण दास अहिरवार की जीत के बाद समाजवादी पार्टी और कांग्रेस खेमे में उत्साह और खुशी की लहर दौड़ गई है जगह-जगह गठबंधन से जुड़े दलों के कार्यकर्ता और समर्थक एक दूसरे के साथ मिठाई बांटते नजर आए तो वही जगह इंडिया गठबंधन के समथर्क खुशी से एक दूसरे को जीत की बधाई देने में उत्साहित दिखलाई दिए।

भाजपा उम्मीदवार भानुप्रताप ने बसपा पर फोड़ा अपनी हार की ठीकरा

मंगलवार को लोकसभा चुनाव की मतगणना उपरांत गठबंधन प्रत्याशी नारायण दास अहिरवार से मिली मिली करारी हार के बाद मीडिया से बातचीत के दौरान उन्होंने अपनी हार का ठीकरा बसपा प्रत्याशी को कम वोट मिलने की कहते हुये फोड़ा। हालांकि इस दौरान मीडिया की ओर से सवाल किया गया कि भाजपा में अंदरूनी कलह होने के बारे में जब जानना चाहा तो उनका कहना था पूरी पार्टी ने एकजुटता के साथ चुनाव लड़ा जिले की भाजपा में कोई अंदरूनी कलह नहीं हैं। पूरी पार्टी एक साथ है। हालांकि भाजपा प्रत्याशी भानुप्रताप वर्मा को 4 लाख 76 हजार 282 मत मिले।
गौरतलब हो कि लोकसभा चुनाव की सरगमिर्यां शुरू होने के साथ ही भाजपाई यह मानकर चल रहे थे कि इस बार पांच बार सांसद निवार्चित हो चुके भानुप्रताप वर्मा को पार्टी हाईकमान टिकट नहीं देगी। लेकिन जैसे ही पार्टी हाईकमान ने भानुप्रताप वर्मा का टिकट फाइनल किया वैसे ही भाजपा में असंतोष की लहर पैदा हो गयी थी। इसे भांपने में भानुप्रताप वर्मा ही नहीं बल्कि पार्टी संगठन भी असफल रहा और चुनाव के दौरान भाजपा प्रत्याशी की निष्क्रियता का मुद्दा भाजपा में ही नहीं बल्कि गठबंधन प्रत्याशी व उनके समर्थक जनसम्पर्क के दौरान पूरी ताकत से उठाते रहे। फिर वैसे भी लोकसभा चुनाव से भाजपा का सक्रिय कार्यकर्ता पूरी तरह से दूरी बनाकर चलता रहा। इस तरह से देखा जाये तो एक नहीं अनेकों ऐसे कारण रहे कि जिसकी वजह से भाजपा प्रत्याशी को पराजय का मुह देखना पड़ा।

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